केंद्रीय बजट 2023 के दिन घरेलू शेयर बाजार की पॉजिटिव शुरुआत हुई। सेंसेक्स और निफ्टी दोनों बढ़त के साथ खुले। सेंसेक्स में बुधवार को करीब 450 अंकों तक की शुरआती बढ़त दिखी। फिलहाल यह 413 अंकों की बढ़त के साथ 59,963 अंकों पर कारोबार करता दिख रहा है। वहीं निफ्टी 107 अंकों की शुरुआती बढ़त के साथ 17707 अंकों पर कारोबार कर रहा है।
इससे पहले हिंडनबर्ग की रिपोर्ट ने शेयर बाजार में भूचाल मचाकर रख दिया था। दिग्गज कारोबारी व एशिया के सबसे अमीर व्यक्ति गौतम अदाणी के शेयरों में भारी गिरावट हुई और तीन दिन में उनकी संपत्ति को 34 अरब डॉलर से ज्यादा का नुकसान हुआ।
आलम यह हुआ कि दुनिया के शीर्ष-10 अमीरों की सूची में चौथे नंबर पर शुमार अदाणी 11वें स्थान पर खिसक गए। हालांकि, बजट से ठीक पहले शेयर बाजार में इस तरह की उठापटक कोई नई नहीं है। बीते पांच सालों का ट्रेंड देखें तो बजट से ठीक एक महीने पहले चार बार शेयर बाजार को काफी नुकसान उठाना पड़ा है। सिर्फ 2018 में निफ्टी-50 में करीब चार प्रतिशत से ज्यादा का उछाल दर्ज किया गया था। वहीं, अन्य चार सालों में शेयर इंडेक्स में 0.2 से 2.5 प्रतिशत की गिरावट देखी गई।
पिछले साल बजट वाले दिन कैसी रही थी शेयर बाजार की चाल?
एक फरवरी, 2022 को मोदी सरकार ने अपना पिछला बजट पेश किया था। बजट के दिन सूचकांक में 1.4% का उछाल देखा गया। दिन के कारोबार में निफ्टी 367 अंक चढ़कर 17,622 पर पहुंच गया। हालांकि, बाद में यह 30 अंक गिरकर 17,577 पर बंद हुआ। वहीं, सेंसेक्स में 1.5 प्रतिशत का उछाल देखा गया। यह 848.40 अंक चढ़कर 58,862.57 पर बंद हुआ।
मोदीराज के हर बजट में बाजार का हाल
2014 में बजट
यूपीए सरकार के बाद 2014 में मोदी सरकार सत्ता में आई और तत्कालीन वित्त मंत्री अरुण जेटली ने 10 जुलाई को अपना पहला केंद्रीय बजट पेश किया। बजट वाले दिन, निफ्टी में मामूली बिकवाली देखी गई और बाजार 0.2% की गिरावट के साथ बंद हुआ।
2015 में बजट
तत्कालीन वित्त मंत्री अरुण जेटली ने अपना दूसरा बजट पेश किया था। बजट वाले दिन बाजार में 0.7% की बढ़त देखी गई। हालांकि, बजट के बाद निफ्टी में मामूली बिकवाली देखी गई और एक महीने में लगभग 4.6% की गिरावट आई।
2016 में बजट
2016 में बजट बाजार की उम्मीदों पर खरा नहीं उतरा और बजट के दिन निफ्टी 0.6% की मामूली गिरावट के साथ बंद हुआ। हालांकि, बजट के बाद सकारात्मक बदलाव आया और एक महीने में निफ्टी में 10 फीसदी से ज्यादा की जोरदार तेजी दर्ज की गई।
2017 में बजट
2017 में मोदी सरकार ने रेल बजट और आम बजट को एक साथ पेश किया। बाजार में 1.8% की बढ़त देखी गई।
2018 में बजट
तत्कालीन वित्त मंत्री अरुण जेटली ने एक फरवरी, 2018 को अपना अंतिम बजट पेश किया। यह जीएसटी लागू करने के बाद पहला केंद्रीय बजट था। निफ्टी के शेयरों में 0.2% की मामूली गिरावट देखी गई। इसके बाद भी बाजार में गिरावट जारी रही और एक महीने में निफ्टी में 6% की गिरावट दर्ज की गई।
2019 में बजट
2019 में निर्मला सीतारमण वित्त मंत्री बनीं। पांच जुलाई को बजट पेश किया गया और निफ्टी 1.1% की गिरावट के साथ बंद हुआ। बाजार में गिरावट जारी रही और एक महीने बाद निफ्टी में 8% की गिरावट आई। 2011 से 2021 के बीच बजट घोषणा के बाद बाजार के लिहाज से ये सबसे खराब आंकड़े थे।
2020 में बजट
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने एक फरवरी को अपना दूसरा बजट पेश किया। बाजार में लगातार दूसरी बार गिरावट देखी गई। निफ्टी 2.5% गिरावट के साथ बंद हुआ।
2021 में बजट
निर्मला सीतारमण ने अपना तीसरा बजट पेश किया। कोरोना के कारण यह बजट टैबलेट के माध्यम से पेश किया गया। निफ्टी के शेयरों में भारी उछाल देखा गया और यह 4.7% बढ़ोत्तरी पर जाकर बंद हुआ।
2022 में बजट
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी को बजट पेश किया। निफ्टी 1.4% की उछाल के साथ बंद हुआ। हालांकि, एक महीने में शेयरो में 4.5 प्रतिशत की गिरावट भी आ गई।